एमसीआर एचआरडी में मिस्र के राजनयिकों का क्षमता विकास पाठ्यक्रम

हैदराबाद – डॉ. एमसीआर एचआरडी संस्थान में मिस्र के वाणिज्यिक राजनयिकों के लिए क्षमता विकास पाठ्यक्रम शुरू हुआ। विदेश व्यापार और निवेश पर आधारित पाठयक्रम भारतीय तकनीकी और आर्थिक सहयोग (आईटीईसी) कार्यक्रम के तहत भारत सरकार के विदेश मंत्रालय द्वारा प्रायोजित है।

डॉ. एमसीआर एचआरडी संस्थान के महा निदेशक तथा तेलंगाना सरकार के विशेष मुख्य सचिव डॉ. शशांक गोयल ने पाठयक्रम के उद्घाटन कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में भाग लिया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा यह पाठ्यक्रम मिस्त्र के वाणिज्यिक राजनयिकों को व्यापार को बढ़ावा देने, विदेशी निवेश को आकर्षित करने तथा वैश्विक स्तर पर मिस्र के व्यापार और निवेश संबंधों को बढ़ाने हेतु सशक्त नीति-निर्माण में बहुत सहायक होगा। उन्होंने कहा अंतरराष्ट्रीय व्यापार दुनिया भर के देशों को अपनी घरेलू सीमाओं से परे बड़े बाजारों तक पहुँचने, अपने माल और सेवाओं की माँग बढ़ाने, उत्पादन के उच्च स्तर को प्राप्त करने और परिणामस्वरूप उच्च आर्थिक विकास और समृद्धि में सक्षम बनाता है। उन्होंने कहा इसी तरह विदेशी निवेश बाहर से पूंजी लाता है। जिसका उपयोग नई परियोजनाओं को वित्तपोषित करने, नवीनतम तकनीकों तक पहुँचने सहित व्यवसायों का विस्तार करने और बुनियादी ढाँचे में सुधार करने के लिए किया जा सकता है। जिसके परिणामस्वरूप प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से नए रोजगार के अवसर मिलते हैं। जिससे आय के स्तर में वृद्धि होती है।

डॉ. शशांक गोयल ने कहा कि पाठ्यक्रम के अंतर्गत सरकार, शिक्षा जगत और उद्योगों के वरिष्ठतम विशेषज्ञों द्वारा निर्यात के लिए उत्पादों और सेवाओं की पहचान करने में व्यावहारिक अंतर्दृष्टि शामिल है। जिसमें चार विशिष्ट उद्योगों जैसे फार्मा, खाद्य प्रसंस्करण, ऑटोमोबाइल और आईटी पर ध्यान केंद्रित किया जाता है। उन्होंने कहा पाठ्यक्रम में निर्यात और आयात की प्रक्रियाओं, ई-कॉमर्स की भूमिका, सीमा पार व्यापार को बढ़ावा देने और सुविधाजनक बनाने और विदेशी भागीदारों के साथ व्यवहार में राजनयिकों के बातचीत कौशल को विकसित करने के बारे में भी बताया जाएगा। उन्होंने कहा इस पाठ्यक्रम में कक्षा व्याख्यानों के अलावा मिस्त्र के राजनयिकों को भारत में अंतर्राष्ट्रीय व्यापार और निवेश को बढ़ावा देने की पहल की सराहना करने में सक्षम बनाने के लिए कई औद्योगिक पार्कों, विशेष आर्थिक क्षेत्रों तथा विनिर्माण केंद्रों आदि का दौरा करने का अवसर प्रदान किया जाएगा। इसके अलावा उन्हें भारत की समृद्ध संस्कृति और विरासत से परिचित कराने के लिए ऐतिहासिक महत्व के स्थानों के लिए दौरे आयोजित किए जाएंगे। अवसर पर डॉ. शशांक गोयल, आईएएस ने क्षमता विकास पाठ्यक्रम की पाठ्यक्रम पुस्तिका जारी की।

पाठ्यक्रम निदेशक तथा सीएलपी-सीआईएस प्रमुख डॉ. माधवी रावुलपति ने कहा डॉ. एमसीआर एचआरडी संस्थान को भारत सरकार के विदेश मंत्रालय द्वारा सूचीबद्ध किया गया है। इसके एक भाग के रूप में संस्थान द्वारा हाल के दिनों में दक्षिण अफ्रीका, वियतनाम और श्रीलंका के प्रतिनिधियों लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किए गए। उन्होंने कहा वैश्विक स्तर पर कई प्रशिक्षण कार्यक्रम भी योजनारत हैं।

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