राजभवन में मनाया गया झारखंड राज्य स्थापना दिवस

हैदराबाद, राजभवन की मेजबानी में आज झारखंड राज्य स्थापना दिवस मनाया गया। भारत सरकार की पहल एक भारत श्रेष्ठ भारत के तहत आयोजित कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में राज्यपाल जिष्णु देव वर्मा उपस्थित थे। अवसर पर झारखंड की समफद्ध विरासत को प्रदर्शित करने वाले रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी गई।

राज्यपाल जिष्णु देव वर्मा ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए झारखंडवासियों को शुभकामनाएँ दीं। उन्होंने राज्य गठन में योगदान देने वाले नेताओं और नागरिकों के प्रति श्रद्धांजलि अर्पित कर आदिवासी नेता तथा स्वतंत्रता सेनानी बिरसा मुंडा के अद्वितीय योगदान और बलिदान पर प्रकाश डाला। राज्यपाल ने आदिवासी स्वतंत्रता सेनानियों के योगदान को सम्मान देते हुए उनकी जयंती को जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाने के भारत सरकार के निर्णय की सराहना की। राज्यपाल ने विभिन्न राज्यों के स्थापना दिवस मनाने के महत्व पर जोर देते हुए इससे विविध संस्वफढतियों की आपसी समझ बढ़ती है, जो विविधता से समफद्ध भारत की एकता को मजबूत करने में योगदान देती है।

अवसर पर बताया गया कि 15 नवंबर, 2000 को बिहार के दक्षिणी क्षेत्र से अलग होकर बना झारखंड राज्य अपने स्थापना दिवस को उन दूरदर्शी लोगों और नेताओं के सम्मान में मनाता है, जिन्होंने इसके निर्माण और विकास में योगदान दिया। यह दिन आदिवासी नेता तथा स्वतंत्रता सेनानी बिरसा मुंडा की जयंती का प्रतीक है, जिनकी विरासत आज भी प्रेरणा देती है। कार्यक्रम का शुभारंभ राज्यपाल द्वारा बिरसा मुंडा के चित्र पर माल्यार्पण के साथ हुआ। इसके बाद सांस्वफढतिक कार्यक्रमों द्वारा झारखंड की समफद्ध विरासत को प्रदर्शित किया गया। इनमें आदिवासी गीत, नफत्य सहित बिरसा मुंडा के नेतफत्व में आदिवासी विद्रोह का भावपूर्ण मंचन शामिल था।

अवसर पर तेलंगाना सरकार के विशेष मुख्य सचिव विकास राज, राज्यपाल के प्रधान सचिव बी. वेंकटेशम, जीओसी मेजर जनरल अखिलेश कुमार, राज्यपाल के संयुक्त सचिव जे. भवानी शंकर सहित झारखंड के वरिष्ठ अधिकारी एवं कई गणमान्य उपस्थित थे।

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