तेलंगाना में आम आदमी पर नहीं पड़ेगा बिजली बिल का अधिक बोझ : श्रीरंगा
हैदराबाद, ईआरसी के चेयरमैन श्रीरंगा राव ने कहा कि आम आदमी पर बिजली बिल का कोई बोझ नहीं पड़ेगा। घरेलू श्रेणी के लिए टैरिफ में कोई परिवर्तन नहीं किया गया है। हालांकि 800 यूनिट पार करने वाले उपभोक्ताओं के लिए थोड़ी बढ़ोतरी की जाएगी।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, ईआरसी ने आज डिस्कॉम के वार्षिक टैरिफ प्रस्तावों पर सार्वजनिक सुनवाई की। विद्युत नियंत्रण भवन में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में श्रीरंगा राव ने बताया कि सरकार का डीआईएससी पर लगभग 25,000 करोड़ रुपये का बकाया है। उन्होंने सुझाव देते हुए कहा कि घाटे को कम करने के लिए डिस्कॉम को जल्द से जल्द सरकार से बकाया लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि आयोग बिजली कंपनियों की वित्तीय स्थिति, उपभोक्ताओं और सरकारी सब्सिडी को ध्यान में रखकर फैसला करेगा। फिलहाल किसी भी श्रेणी में बिजली शुल्क नहीं बढ़ाया जा रहा है। तेलंगाना विद्युत नियामक आयोग ने प्रति माह 800 यूनिट से अधिक की खपत करने वाले घरेलू उपयोगकर्ताओं से शुरू होने वाली कुछ श्रेणियों के लिए निश्चित शुल्क को मंजूरी दे दी है। 800 यूनिट से अधिक बिजली का उपयोग करने वाले उपभोक्ताओं के लिए निर्धारित शुल्क मौजूदा 10 रुपये से बढ़ाकर 50 रुपये प्रति किलोवाट प्रति यूनिट करने की अनुमति दी गयी है। उन्होंने कहा कि फिक्स चार्ज 10 रुपये यथावत रहेगा। सिंचाई को लेकर दिन के पीक ऑवर के समय में भी कोई बदलाव नहीं किया गया है, लेकिन रात 10 बजे से सुबह 6 बजे के बीच रियायत को 1 रुपये से बढ़ाते हुए 1.50 रुपए किया गया है। घरेलू उपयोगकर्ताओं के लिए न्यूनतम शुल्क हटा दिया गया है। आयोग ने ग्रिड सपोर्ट शुल्क को स्वीकृति दे दी है। हालांकि यह निर्णय केवल पांच महीने तक जारी रहेंगे। पोल्ट्री और बकरी फार्मों को आयोग द्वारा मंजूरी नहीं दी गई है।
जानकारी देते हुए बताया गया कि बिजली विभाग ने वित्त वर्ष 2024-25 के लिए 11499.52 करोड़ रुपये की सब्सिडी प्रतिबद्धता के लिए विद्युत अधिनियम, 2003 की धारा 65 के तहत अपनी सहमति व्यक्त की है। पिछले वर्ष की तुलना में सरकार की सब्सिडी प्रतिबद्धता में 2374.7 करोड़ रुपये (लगभग 26 प्रतिशत) की वृद्धि हुई है। राज्य सरकार ने 2024-25 के बजट में बिजली उपयोगिताओं को 16,398.16 करोड़ की सहायता का प्रस्ताव दिया है।