बीसी आरक्षण पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया कांग्रेस ने

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हैदराबाद, राज्य सरकार और सत्तारूढ़ कांग्रेस पार्टी ने राज्य में 42 प्रतिशत पिछड़ा वर्ग आरक्षण के कार्यान्वयन पर रोक लगाने के लिए सर्वोच्च न्यायालय में दायर याचिका को खारिज किए जाने का स्वागत किया है। कांग्रेस नेताओं ने कहा कि कांग्रेस पार्टी और राज्य सरकार 42 प्रतिशत पिछड़ा वर्ग को आरक्षण प्रदान करने के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए हर संभव प्रयास करेगी। पार्टी ने सभी वर्गों और सभी राजनीतिक दलों से बीसी को 42 प्रतिशत आरक्षण को राजनीतिक रूप से लागू करने में सरकार के साथ सहयोग करने का अनुरोध किया है।

उप-मुख्यमंत्री भट्टी विक्रमार्का, बीसी कल्याण मंत्री पोन्नम प्रभाकर, पीसीसी अध्यक्ष महेश कुमार गौड़, सांसद मल्लू रवि और अन्य ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि सरकार स्थानीय निकाय चुनावों में 42 प्रतिशत पिछड़ा वर्ग आरक्षण लागू करने के लिए प्रतिबद्ध है। भट्टी विक्रमार्का ने दिल्ली में मीडिया से बात करते हुए कहा कि वे पिछड़ा वर्ग आरक्षण के खिलाफ दायर याचिका पर सर्वोच्च न्यायालय के फैसले का स्वागत करते हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि स्थानीय निकाय चुनावों में पिछड़ा वर्ग आरक्षण हर हाल में लागू किया जाएगा।

पीसीसी अध्यक्ष महेश कुमार गौड़ ने एक बयान में कहा कि सरकार पहले ही तीन कानून, एक अध्यादेश लाने के साथ-साथ एक सरकारी आदेश जारी करके पिछड़ा वर्ग आरक्षण लागू करने के प्रयास कर चुकी है। उन्होंने कहा कि एआईसीसी के शीर्ष नेता राहुल गांधी, मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी और एआईसीसी प्रभारी मीनाक्षी नटराजन पिछड़ा वर्ग आरक्षण लागू करने के लिए लगातार काम कर रहे हैं।

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तेलंगाना में पिछड़ा वर्ग आरक्षण पर सरकार की प्रतिक्रिया

महेश कुमार गौड़ ने सभी वर्गों और सभी राजनीतिक दलों से पिछड़ा वर्ग के लिए 42 प्रतिशत आरक्षण को राजनीतिक रूप से लागू करने में सरकार का सहयोग करने की अपील की। उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि 8 अत्तूबर को राज्य उच्च न्यायालय भी पिछड़ा वर्ग आरक्षण के मुद्दे पर सरकार के पक्ष में फैसला सुनाएगा।

बीसी कल्याण मंत्री पोन्नम प्रभाकर ने कहा कि सरकार तेलंगाना में पिछड़ा वर्ग आरक्षण को लेकर गंभीर है। उन्होंने कहा कि सरकार इस मामले में कानूनी रूप से आगे बढ़ रही है। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने तेलंगाना में पिछड़ा वर्ग आरक्षण के खिलाफ दायर याचिका में हस्तक्षेप करने से इनकार कर दिया है। उन्होंने आगे कहा कि भाजपा सभी प्रकार के आरक्षण के खिलाफ है।

मंत्री ने भाजपा नेताओं पर पिछड़ा वर्ग आरक्षण संशोधन विधेयक और अध्यादेश में बाधा डालने का आरोप लगाया। भाजपा नेताओं ने विधानसभा में आरक्षण विधेयक पारित करने में सहयोग दिया और अब अपना मन बदल रहे हैं। अगर प्रदेश भाजपा नेता ईमानदार हैं, तो उन्हें केंद्र पर इससे संबंधित लंबित विधेयक पारित करने के लिए दबाव बनाना चाहिए।

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