हैदराबाद-राज्यपाल डॉ. तमिलिसै सौंदरराजन ने तारनाका स्थित राष्ट्रीय पोषण संस्थान के वैज्ञानिकों से भेंट करते हुए कुपोषण तथा रक्ताल्पता जैसी स्वास्थ्य समस्या की रोकथाम के लिए व्यापक कार्य योजना तैयार करने का आह्वान किया। उन्होंने पोषण को लेकर जन-जागरूकता की आवश्यकता पर विशेष रूप से बल दिया।
राज्यपाल ने कहा कि बच्चों में कुपोषण का विषय चिंतनीय है। बच्चे हमारा भविष्य हैं। बच्चों के पोषण से जुड़ी चिंता को दूर करने की दिशा में समाधान तलाश करते हुए प्रभावी कार्य योजना तैयार करने की आवश्यकता है। आरंभ से ही बच्चों के समुचित स्वास्थ्य की ओर ध्यान देना बहुत आवश्यक है। उन्होंने कहा कि महिलाओं को गर्भावस्था से पूर्व, गर्भावस्था के दौरान तथा प्रसव के उपरांत खान-पान तथा पोषक आहार की अनिवार्यता से जागरूक करना आवश्यक है। माताओं के पोषण का प्रभाव बच्चों के स्वास्थ्य पर पड़ता है। पोषण के लिए पारंपरिक पौष्टिक भोजन विकल्पों पर भी फोकस किया जाना चाहिए। पोषण की दिशा में लोगों की जागरूकता बहुत कम है।
डॉ. तमिलिसै सौंदरराजन ने `मिलेट ईयर' का उल्लेख करते हुए कहा कि कमजोर स्थिति वाले लोगों की पोषण स्थिति में सुधार के लिए मिलेट्स की श्रेणी में आने वाले अनाजों की खपत को व्यापक स्तर पर प्रोत्साहन देने की आवश्यकता है। राज्यपाल ने राष्ट्रीय पोषण संस्थान के वैज्ञानिकों से भेंट कर उनसे इस क्षेत्र में अपनी विशेषज्ञता का उपयोग कर समाज के सभी वर्गों के लिए एनीमिया जैसी स्वास्थ्य समस्या को नियंत्रित करने में प्रभावी सहयोग करने की अपील की। उन्होंने कहा कि पोषण को लेकर सामाजिक जन-जागरूकता को प्रोत्साहन दिया जाना चाहिए।