हैदराबाद-राजस्थानी जैन श्वेतांबर मूर्तिपूजक संघ के जैन भवन में आचार्य कलापूर्ण सूरीश्वरजी म.सा. के शिष्य रत्न आचार्य तीर्थभद्र सूरीश्वरजी म.सा. के शिष्य चित्रपट विजयजी म.सा. आदि ठाणा 3 ने मंगलमय चातुर्मास प्रवेश संपन्न किया।
महेंद्र कुमार योगेश कुमार खरगांधी के निवास से अल्पाहार के पश्चात विशाल भक्त समुदाय ने म.सा. के साथ बैंड बाजों की धुन पर झूमते हुए आदिनाथ जिनालय में दर्शन वंदन कर जैन भवन में प्रवेश किया। महिलाओं ने सुंदर कलश द्वारा पूज्यश्री का सामैय्या संपन्न किया। श्री संघ के सदस्यों एवं नगर के भक्तों ने धर्म सभा में भाग लिया। अवसर पर मुनिराज तीर्थ सुन्दर विजयजी म.सा. ने चातुर्मास को कलापूर्ण चातुर्मास का नाम दिया। म.सा. ने कहा कि नगर पावन धरा वंदनीय है, तीर्थ स्थल है, यहीं पर आचार्य श्रीमद विजय कलापूर्ण सुरेश्वरजी म.सा. के कदम पड़े।
आचार्य श्रीमद विजय जिन सुंदर सुरीश्वरजी म.सा. ने कहा कि तपस्या करने जैसी है, पर उसमें भी सिद्ध तप का अत्यधिक महत्व है। आचार्यदेव अभय सेन सूरीश्वरजी म.सा. ने कहा कि सिकंदराबाद नगर चातुर्मास का पुण्य स्थली बन गया, क्योंकि यहाँ आराधना, साधना एवं तपस्या का शंखनाद होगा। अवसर पर गुरू पूजन का लाभ श्री मैलापुर जैन संघ, चेन्नई वालों ने लिया। नरपतचंद पुखराज कानूनगो परिवार ने पूज्यश्री को कामली बोहराई। पूज्यश्री के स्वागत में आदिजिन मंडल, जैन युवा संगठन, आदर्श बहु मंडल, पार्श्व कुशल महिला मंडल ने सहयोग प्रदान किया। स्वामी वात्सल्य में सभी श्री संघ के सदस्यों ने भाग लिया।
आचार्य श्रीमद विजय जिन सुंदर सुरीश्वरजी म.सा. ने कहा कि तपस्या करने जैसी है, पर उसमें भी सिद्ध तप का अत्यधिक महत्व है। आचार्यदेव अभय सेन सूरीश्वरजी म.सा. ने कहा कि सिकंदराबाद नगर चातुर्मास का पुण्य स्थली बन गया, क्योंकि यहाँ आराधना, साधना एवं तपस्या का शंखनाद होगा। अवसर पर गुरू पूजन का लाभ श्री मैलापुर जैन संघ, चेन्नई वालों ने लिया। नरपतचंद पुखराज कानूनगो परिवार ने पूज्यश्री को कामली बोहराई। पूज्यश्री के स्वागत में आदिजिन मंडल, जैन युवा संगठन, आदर्श बहु मंडल, पार्श्व कुशल महिला मंडल ने सहयोग प्रदान किया। स्वामी वात्सल्य में सभी श्री संघ के सदस्यों ने भाग लिया।